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बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना का लाभ 12वीं पास छात्र उठा सकते हैं

बिहार: मुख्यमंत्री ने बिहार में न सिर्फ शिक्षण संस्थानों की स्थापना करायी बल्कि उसमें पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं की आर्थिक मदद को लेकर भी योजना शुरु की. बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की दूरदर्शी सोच का ही परिणाम है. गरीबी के कारण कई लड़के-लड़कियां इच्छा के बावजूद उच्च शिक्षा हासिल नहीं कर पाते हैं. पैसे की कमी के चलते कुछ बेहतर प्रयास करने की उनकी हसरतें दम तोड़ देती है. ऐसे ही गरीब विद्यार्थियों की आर्थिक मदद के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार सरकार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना चला रही है.

स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना 2 अक्टूबर 2016 में लॉन्च
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सात निश्चय की अहम कड़ी 'आर्थिक हल युवाओं को बल' के तहत स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना को 2 अक्टूबर 2016 को लॉन्च किया था. जिसके तहत सरकार छात्रों को 4 लाख रुपये तक का लोन उपलब्ध कराती है. इस योजना का उद्देश्य गरीब बच्चों की पढ़ाई के लिए आर्थिक मदद करना है. दरअसल हर साल पैसे की तंगी के कारण अधिकतर बच्चे पढ़ाई बीच में ही छोड़ने को विवश हो जाते हैं. ऐसे में स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना की मदद से वे आगे की पढ़ाई जारी रख सकेंगे. 

12वीं पास विद्यार्थियों को लोन उपलब्ध कराया जा रहा
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की तरफ से चलाई जा रही की बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के अंतर्गत प्रदेश के निर्धन और आर्थिक तौर पर कमजोर विद्यार्थियों को उच्च शिक्षा ग्रहण करने हेतु प्रोत्साहित करते हुए आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है. यह योजना लाखों छात्रों के सपने को साकार करने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रही है. स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना में 12वीं पास विद्यार्थियों को तकनीकी शिक्षा के साथ-साथ जनरल एजुकेशन प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को लोन उपलब्ध कराया जा रहा है.

योजना के लिए 690 करोड़ रुपये का प्रावधान
बैंकों की जरूरी शर्तों को मानने के बावजूद बैंकों द्वारा इस योजना के अंतर्गत स्वीकृत की जाने वाली लोन में काफी बिलम्ब होता था. इसको देखते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार राज्य शिक्षा वित्त निगम की स्थापना की है. स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के जरिए बिहार राज्य शिक्षा वित्त निगम छात्रों को 4 लाख रुपये तक का एजुकेशन लोन देता है. वित्तीय वर्ष 2023-24 के बजट में स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के लिए 690 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है.

4 लाख रुपये तक का लोन
अब सरकार विदेश में पढ़ाई के लिए भी चार लाख रुपये का लोन देगी. बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना की खास बात यह है कि इसके तहत लिए गए कर्ज की गारंटर राज्य सरकार खुद है. इस योजना के तहत विद्यार्थी 4 लाख रुपये तक का लोन हासिल कर सकता है. बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना इसलिए भी अच्छी है कि विद्यार्थी पोर्टल के जरिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं. उन्हें अब बैंकों की शाखाओं का चक्कर लगाने की जरूरत नहीं है. बिहार के ऐसे विद्यार्थी को https://www.7nishchay-yuvaupmission.bihar.gov.in पर आवेदन करना होगा.

मात्र 1% ब्याज पर लोन देने का प्रावधान
इस योजना के अंतर्गत शैक्षणिक संस्थाओं की फीस के साथ ही छात्रावास, पाठ्य पुस्तक आदि के लिए भी लोन देने का प्रावधान है. एक छात्र को अधिकतम 4 लाख रुपए तक लोन मिल सकता है. अगर कोई स्टूडेंट जिस संस्थान में पढ़ रहा है वहां की ट्यूशन फीस की व्यवस्था कर ली है और वो आवासन, भोजन और किताब कॉपी के लिए लोन लेना चाहता है तो ले सकते हैं. इसके साथ ही लैपटॉप के लिए 35 हजार रुपए की राशि मिल सकती है. इस योजना के तहत छात्रों को 4 प्रतिशत और सभी वर्ग की छात्राओं, दिव्यांग एवं ट्रांसजेंडर आवेदक को मात्र एक प्रतिशत ब्याज पर लोन देने का प्रावधान है.

दूसरे सामान्य कोर्सेस के लिए भी लोन उपलब्ध
स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के जरिए कई तरह के सामाजिक बदलाव भी मुमकिन हो रहे हैं. इससे राज्य में उच्च शिक्षा दर बढ़ रही है. पहले राज्य में ऊंची तालीम लेने वालों की तादाद महज 14.3 फीसदी थी स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के माध्यम से बिहार सरकार ने इसे 30 फीसदी तक पहुंचाने का लक्ष्य निर्धारित किया है. मालूम हो कि देश भर में ऊंची तालीम पाने वालों का औसत 24 फीसदी है. बिहार राज्य शिक्षा वित्त निगम के जरिए जब से स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड का वितरण शुरू हुआ है, उच्च शिक्षा के लिए कॉलेजों में आवेदनों की संख्या बढ़ी है. सिर्फ तकनीकी नहीं, दूसरे सामान्य कोर्सेस के लिए भी कार्ड के जरिए लोन उपलब्ध कराया जा रहा है.

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